भोंगापाल में भगवान बुद्ध के ध्यान स्थल को संरक्षित-संवर्धित करने सौंपा ज्ञापन

छत्तीसगढ़ संवाददाता कोंडागांव, 23 मई। भोंगापाल में स्थित महात्मा बुद्ध के ध्यान स्थल को संरक्षित संवर्धित करने अध्यक्ष भारतीय बौद्ध महासभा युवा प्रकोष्ठ जिला कोंडागांव ,अभ्युदय बुद्धिस्ट मैत्रेय संघ बस्तर संभाग जिला शाखा कोंडागांव एवं अध्यक्ष बाबा साहेब सेवा संस्था जिला कोंडागांव ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा। छत्तीसगढ़ में पुरातात्विक और ऐतिहारिक महत्व के विपुल स्थल मौजूद हैं, जिनमें नारायणपुर और कोण्डागांव जिले के अन्तर्गत आने वाले एक अत्यंत दुर्लभ और महत्वपूर्ण स्थल भोंगापाल भी है। इस दर्शनीय स्थल को आसपास के लोग बुद्धदेव के नाम से भी जानते हैं और अंग्रेजों ने भी इसे ही बुद्धदेव अर्थात बूढ़ा देव की संज्ञा दी गई है। इस महत्वपूर्ण स्थल को आर्कियोलॉजिकल सर्वे आफ इंडिया की ओर से संरक्षित और संवर्धित करने की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए अध्यक्ष भारतीय बौद्ध महासभा युवा प्रकोष्ठ जिला कोंडागांव ,अभ्युदय बुद्धिस्ट मैत्रेय संघ बस्तर संभाग जिला शाखा कोंडागांव एवं अध्यक्ष बाबा साहेब सेवा संस्था जिला कोंडागांव के द्वारा कलेक्टर को ज्ञापन सौंप कर आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया की अधिकृत टीम को इस क्षेत्र में भेज कर इसे संरक्षित और संवर्धित करने की दिशा में सकारात्मक प्रयास किया। ज्ञापन सौंपने भंते ज्ञानबोधी, मुकेश मारकंडेय बाबा साहेब सेवा संस्था कोंडागांव, सिद्धार्थ महाजन भारतीय बौद्ध महासभा युवा प्रकोष्ठ, शंकर लाल खापर्डे ,अखिल भारतीय बौद्ध महासभा कोंडागांव, रमेश पोयाम, मंडावी सर, पदाधिकारी उपस्थित रहे।

भोंगापाल में भगवान बुद्ध के ध्यान स्थल को संरक्षित-संवर्धित करने सौंपा ज्ञापन
छत्तीसगढ़ संवाददाता कोंडागांव, 23 मई। भोंगापाल में स्थित महात्मा बुद्ध के ध्यान स्थल को संरक्षित संवर्धित करने अध्यक्ष भारतीय बौद्ध महासभा युवा प्रकोष्ठ जिला कोंडागांव ,अभ्युदय बुद्धिस्ट मैत्रेय संघ बस्तर संभाग जिला शाखा कोंडागांव एवं अध्यक्ष बाबा साहेब सेवा संस्था जिला कोंडागांव ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा। छत्तीसगढ़ में पुरातात्विक और ऐतिहारिक महत्व के विपुल स्थल मौजूद हैं, जिनमें नारायणपुर और कोण्डागांव जिले के अन्तर्गत आने वाले एक अत्यंत दुर्लभ और महत्वपूर्ण स्थल भोंगापाल भी है। इस दर्शनीय स्थल को आसपास के लोग बुद्धदेव के नाम से भी जानते हैं और अंग्रेजों ने भी इसे ही बुद्धदेव अर्थात बूढ़ा देव की संज्ञा दी गई है। इस महत्वपूर्ण स्थल को आर्कियोलॉजिकल सर्वे आफ इंडिया की ओर से संरक्षित और संवर्धित करने की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुए अध्यक्ष भारतीय बौद्ध महासभा युवा प्रकोष्ठ जिला कोंडागांव ,अभ्युदय बुद्धिस्ट मैत्रेय संघ बस्तर संभाग जिला शाखा कोंडागांव एवं अध्यक्ष बाबा साहेब सेवा संस्था जिला कोंडागांव के द्वारा कलेक्टर को ज्ञापन सौंप कर आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया की अधिकृत टीम को इस क्षेत्र में भेज कर इसे संरक्षित और संवर्धित करने की दिशा में सकारात्मक प्रयास किया। ज्ञापन सौंपने भंते ज्ञानबोधी, मुकेश मारकंडेय बाबा साहेब सेवा संस्था कोंडागांव, सिद्धार्थ महाजन भारतीय बौद्ध महासभा युवा प्रकोष्ठ, शंकर लाल खापर्डे ,अखिल भारतीय बौद्ध महासभा कोंडागांव, रमेश पोयाम, मंडावी सर, पदाधिकारी उपस्थित रहे।