दंतेवाड़ा, 22 फरवरी। दंतेवाड़ा जिले की आराध्य देवी माँ दंतेश्वरी को समर्पित ऐतिहासिक फागुन मंडई 16 से 28 मार्च तक आयोजित होगी। इसी विषय पर कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में मंदिर समिति की बैठक का आयोजन किया गया।
बैठक में सर्वप्रथम दंतेश्वरी माँ की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर पूजा-अर्चना एवं दीप प्रज्वलित किया गया। बैठक में फागुन मड़ई में टेंट, लाइट डेकोरेशन, साउंड सिस्टम, चिकित्सा सुविधा, सुरक्षा, ट्रैफिक व्यवस्था सहित अन्य विषयों पर अहम विचार विमर्श किया गया और निर्णय लिए गये। इसके साथ ही बैठक में मेले के दौरान मीना बाजार के आयोजन, मनोरंजन के कार्यक्रम, छोटे-बड़े मनिहारी दुकानों की व्यवस्था के संबंध में भी चर्चा की गयी।
बैठक के दौरान उक्त सभी पारम्परिक रस्मों को विधि-विधान के साथ पूरा करने के लिए मांझी चालकी, सेवादारों आदि को दायित्व सौंपा गया। वहीं इसके लिए आवश्यक तैयारी सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिये गये। बैठक में अवगत कराया कि फागुन मड़ई में 16 मार्च को कलश स्थापना, 17 मार्च को ताड़पलंगा धोनी रस्म, 18 मार्च को खोर खुंदनी, 19 मार्च को नाच मांडनी, 20 मार्च को लम्हामार, 21 मार्च को कोडरीमार, 22 मार्च को चितलमार तथा 23 मार्च को गंवरमार रस्म, 24 मार्च को गारी, आंवरामार एवं होलिका दहन तथा 25 मार्च को रंग भंग एवं पादुका पूजन रस्म सम्पन्न होगी।
इसके अलावा 26 मार्च को विश्राम, 27 मार्च को फागुन मेले का सबसे बड़ा मड़ई आयोजित होगा। इसके साथ ही 28 मार्च को आमंत्रित देवी-देवताओं की विदाई के साथ ही फागुन मड़ई संपन्न होगी।
उक्त बैठक में नगर पालिका अध्यक्ष पायल गुप्ता, जनपद पंचायत अध्यक्ष सुनीता भास्कर, अपर कलेक्टर राजेश पात्रे, डिप्टी कलेक्टर शिवनाथ बघेल, सभी नगर पालिका सीएमओ, तहसीलदार सहित जिला प्रशासन के अधिकारी तथा प्रधान पुजारी, टेम्पल एस्टेट समिति के सदस्य, मांझी, चालकी, सेवादार प्रमुख रूप से मौजूद थे।
दंतेवाड़ा, 22 फरवरी। दंतेवाड़ा जिले की आराध्य देवी माँ दंतेश्वरी को समर्पित ऐतिहासिक फागुन मंडई 16 से 28 मार्च तक आयोजित होगी। इसी विषय पर कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में मंदिर समिति की बैठक का आयोजन किया गया।
बैठक में सर्वप्रथम दंतेश्वरी माँ की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर पूजा-अर्चना एवं दीप प्रज्वलित किया गया। बैठक में फागुन मड़ई में टेंट, लाइट डेकोरेशन, साउंड सिस्टम, चिकित्सा सुविधा, सुरक्षा, ट्रैफिक व्यवस्था सहित अन्य विषयों पर अहम विचार विमर्श किया गया और निर्णय लिए गये। इसके साथ ही बैठक में मेले के दौरान मीना बाजार के आयोजन, मनोरंजन के कार्यक्रम, छोटे-बड़े मनिहारी दुकानों की व्यवस्था के संबंध में भी चर्चा की गयी।
बैठक के दौरान उक्त सभी पारम्परिक रस्मों को विधि-विधान के साथ पूरा करने के लिए मांझी चालकी, सेवादारों आदि को दायित्व सौंपा गया। वहीं इसके लिए आवश्यक तैयारी सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिये गये। बैठक में अवगत कराया कि फागुन मड़ई में 16 मार्च को कलश स्थापना, 17 मार्च को ताड़पलंगा धोनी रस्म, 18 मार्च को खोर खुंदनी, 19 मार्च को नाच मांडनी, 20 मार्च को लम्हामार, 21 मार्च को कोडरीमार, 22 मार्च को चितलमार तथा 23 मार्च को गंवरमार रस्म, 24 मार्च को गारी, आंवरामार एवं होलिका दहन तथा 25 मार्च को रंग भंग एवं पादुका पूजन रस्म सम्पन्न होगी।
इसके अलावा 26 मार्च को विश्राम, 27 मार्च को फागुन मेले का सबसे बड़ा मड़ई आयोजित होगा। इसके साथ ही 28 मार्च को आमंत्रित देवी-देवताओं की विदाई के साथ ही फागुन मड़ई संपन्न होगी।
उक्त बैठक में नगर पालिका अध्यक्ष पायल गुप्ता, जनपद पंचायत अध्यक्ष सुनीता भास्कर, अपर कलेक्टर राजेश पात्रे, डिप्टी कलेक्टर शिवनाथ बघेल, सभी नगर पालिका सीएमओ, तहसीलदार सहित जिला प्रशासन के अधिकारी तथा प्रधान पुजारी, टेम्पल एस्टेट समिति के सदस्य, मांझी, चालकी, सेवादार प्रमुख रूप से मौजूद थे।